लौंग का तेल है फायदेमंद -----------
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लौंग भले ही छोटी है, मगर उसके प्रभाव बड़े गुणकारी हैं। साथ ही लौंग का तेल भी काफी लाभकारी होता है। इसमें कैल्शियम, आयरन, फास्फोरस, सोडियम, पोटेशियम, विटामिन ए और सी पाया जाता है। लौंग भूख बढ़ाने का भी काम करती है, लेकिन इसे ज्यादा मात्रा में नहीं खाना चाहिए। इसका इस्तेमाल कई रोगों के उपचार में किया जाता है:
दांत दर्द में उपयोगी
लौंग का तेल दांत, मसूड़ों में दर्द और मुंह में अल्सर के लिए खासतौर पर उपयोगी होता है। यह सांसों की बदबू को दूर करने का काम करता है। दांत में दर्द होने पर लौंग के तेल की कुछ बूंदें फाहे पर डालकर दर्द वाले हिस्से पर रखें आराम मिलेगा।
संक्रमण
एंटीसेप्टिक गुणों के कारण यह चोट, घाव, खुजली और संक्रमण में भी काफी उपयोगी होता है। इसका उपयोग कीटों के काटने या डंक मारने पर भी किया जाता है लेकिन संवेदनशाल त्वचा पर इसे नहीं लगाना चाहिए।
त्वचा की देखभाल
लौंग के तेल का इस्तेमाल मुंहासे के उपचार में भी किया जाता है।
तनाव
अपने विशिष्ट गुण के कारण यह मानसिक दबाव और थकान को कम करने का काम करता है। यह अनिद्रा के मरीजों और मानसिक बीमारियों जैसे कम होती याददाश्त, अवसाद और तनाव में उपयोगी होता है।
सिरदर्द
लौंग के तेल में नमक मिलाकर सिर पर लगाने से ठंडक का एहसास होता है। नारियल के तेल में लौंग के तेल की 8-10 बूंदें डालकर सिर पर मालिश करने से सिरदर्द जाता रहता है।
सांस की बीमारी
लौंग के तेल का इस्तेमाल खांसी, जुकाम, अस्थमा, तपेदिक, फेफड़े में सूजन आदि बीमारियों के उपचार में उपयोगी होता है। गले में खराश के दौरान लौंग को चूसना फायदेमंद होता है।
कान में दर्द
लौंग के तेल को तिल के तेल (सेसमी आयल) के साथ मिलाकर डालना से दर्द में राहत मिलती है।
मतली
लौंग का तेल उल्टी या मतली के दौरान काफी उपयोगी होता है। यह गर्भ ठहरने के दौरान होने वाली मतली में उपयोगी होता है।
डायबिटीज
खून की सफाई के साथ-साथ लौंग का तेल ब्लड शुगर को नियंत्रित करने में मददगार होता है।
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लौंग भले ही छोटी है, मगर उसके प्रभाव बड़े गुणकारी हैं। साथ ही लौंग का तेल भी काफी लाभकारी होता है। इसमें कैल्शियम, आयरन, फास्फोरस, सोडियम, पोटेशियम, विटामिन ए और सी पाया जाता है। लौंग भूख बढ़ाने का भी काम करती है, लेकिन इसे ज्यादा मात्रा में नहीं खाना चाहिए। इसका इस्तेमाल कई रोगों के उपचार में किया जाता है:
दांत दर्द में उपयोगी
लौंग का तेल दांत, मसूड़ों में दर्द और मुंह में अल्सर के लिए खासतौर पर उपयोगी होता है। यह सांसों की बदबू को दूर करने का काम करता है। दांत में दर्द होने पर लौंग के तेल की कुछ बूंदें फाहे पर डालकर दर्द वाले हिस्से पर रखें आराम मिलेगा।
संक्रमण
एंटीसेप्टिक गुणों के कारण यह चोट, घाव, खुजली और संक्रमण में भी काफी उपयोगी होता है। इसका उपयोग कीटों के काटने या डंक मारने पर भी किया जाता है लेकिन संवेदनशाल त्वचा पर इसे नहीं लगाना चाहिए।
त्वचा की देखभाल
लौंग के तेल का इस्तेमाल मुंहासे के उपचार में भी किया जाता है।
तनाव
अपने विशिष्ट गुण के कारण यह मानसिक दबाव और थकान को कम करने का काम करता है। यह अनिद्रा के मरीजों और मानसिक बीमारियों जैसे कम होती याददाश्त, अवसाद और तनाव में उपयोगी होता है।
सिरदर्द
लौंग के तेल में नमक मिलाकर सिर पर लगाने से ठंडक का एहसास होता है। नारियल के तेल में लौंग के तेल की 8-10 बूंदें डालकर सिर पर मालिश करने से सिरदर्द जाता रहता है।
सांस की बीमारी
लौंग के तेल का इस्तेमाल खांसी, जुकाम, अस्थमा, तपेदिक, फेफड़े में सूजन आदि बीमारियों के उपचार में उपयोगी होता है। गले में खराश के दौरान लौंग को चूसना फायदेमंद होता है।
कान में दर्द
लौंग के तेल को तिल के तेल (सेसमी आयल) के साथ मिलाकर डालना से दर्द में राहत मिलती है।
मतली
लौंग का तेल उल्टी या मतली के दौरान काफी उपयोगी होता है। यह गर्भ ठहरने के दौरान होने वाली मतली में उपयोगी होता है।
डायबिटीज
खून की सफाई के साथ-साथ लौंग का तेल ब्लड शुगर को नियंत्रित करने में मददगार होता है।